आंगनबाड़ी केंद्र से सुविधाएं न मिलने से लोगों में आक्रोश, उड़ी सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां…
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रिपोर्ट : सम्पद कुमार गोप,सिन्दरी
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NEWSTODAYJ धनबाद एक और जहां वैश्विक महामारी कोविड-19 को लेकर पूरा विश्व दहशत के साए में जी रहा है ऐसे में भारत भी संक्रमण को लेकर चौथे पायदान पर पहुंच गया है केंद्र एवं राज्य सरकार पूरी तरह से जनता के प्रति समर्पित भाव से जनधन खाते एवं अन्य योजनाओं के माध्यम से आर्थिक स्थिति से निपटने के लिए आम जनता ओं के बीच हर संभव प्रयास में लगी हुई है बावजूद इसके नौनिहालों एवं गर्भवती महिलाओं के लिए सरकार उपेक्षित नजर आ रही है I बताते चलें कि आंगनवाड़ी केंद्र के जरिए पूरक आहार के अलावा टीकाकरण स्वास्थ्य जांच रेफरल सेवाएं स्कूल पूर्व शिक्षा तथा जागरूकता व शिक्षा उपलब्ध कराने के साथ में केंद्र में गर्भवती महिलाओं और बच्चों के बीच कुपोषण तथा मृत्यु दर में कमी लाना आदि शामिल है।
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लेकिन बलियापुर प्रखंड के दो लाभ और स्थित मॉडल आंगनबाड़ी केंद्र संख्या एक में स्थानीय महिलाओं व नौनिहालों को इन सारी सुविधाओं से वंचित रखा जा रहा है लॉकडाउन के दौरान सिर्फ एक बार ही बच्चों के बीच में चावल का वितरण किया गया जबकि सरकार के निर्देशानुसार महीने के अंतिम बृहस्पतिवार को गर्भवती महिलाएं एवं नौनिहालों को स्वास्थ्य जांच एवं आवश्यक निर्देश देने के लिए नियम की भी व्यवस्था की गई है बावजूद इसके इस दौरान किसी भी तरह की कोई भी सुविधा आंगनबाड़ी केंद्र की ओर से नहीं मिले जिससे स्थानीय लोगों में आक्रोश व्याप्त है जो आज स्थानीय पुरुष महिलाएं एवं नौनिहाल आंगनबाड़ी केंद्र पहुंचकर सरकारी निर्देशों की धज्जियां उड़ाते हुए सोशल डिस्टेंसिंग को भी मेंटेन रखना जरूरी नहीं समझा
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हालांकि इस दौरान स्थानीय लोग रतन कुमार सिंह प्रखंड विकास पदाधिकारी बलियापुर से संपर्क स्थापित कर जानकारी लेने का प्रयास किए इस दौरान प्रखंड विकास पदाधिकारी ने लोगों को आश्वस्त करते हुए जांच की बातें कही साथ ही उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के दौरान एक बार सुखा सामग्री के तौर पर चावल का वितरण किया गया है लेकिन वही स्थानीय लोग का कहना है कि पूछे नौनिहालों को ही इसका लाभ मिला है साथ ही साथ सुकन्या योजना के फॉर्म भरने के दौरान संचालिका के द्वारा ₹50 वसूले ले गए हैं बावजूद इसके ज्यादातर लोगों को इसका लाभ भी नहीं मिल पाया है।